अभी के वक्त में डायबिटीज को मैनेज करना आसान हो गया है। डायबिटीज के पेशेंट खानपान और लाइफ स्टाइल पर ध्यान देकर इसे मैनेज कर सकते हैं। वहीं, अगर खानपान की बात करें तो क्या आप जानते हैं कि शुगर में खाने वाली सब्जी कौन-कौन सी हैं? इनके क्या फायदे हैं? इतना ही नहीं, शुगर में किन सब्जियों से परहेज़ करना चाहिए, इन सबके बारे में भी जानना जरूरी है।
तो इस खास ब्लॉग में हम न सिर्फ शुगर में कौन कौन सी सब्जी खानी चाहिए, यह बताएंगे, बल्कि मधुमेह रोगियों के लिए सब्जियों से जुड़ी अन्य जानकारियां भी देंगे। इन सबके बारे में जानने के लिए इस लेख को पढ़ें।
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मधुमेह रोगियों के लिए सब्जियों का चयन बहुत सोच समझ कर करना चाहिए, क्योंकि डायबिटीज में डाइट बहुत महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है। सब्जियां हमें सभी जरूरी पोषक तत्व प्रदान करती हैं जो शरीर को सही से इंसुलिन का उत्पादन करने में मदद कर सके।
ये सब्जियां हमारे ब्लड शुगर लेवल को बढ़ाए बिना हमें स्वाद और अच्छा स्वास्थ्य प्रदान करती हैं, लेकिन सवाल यह है कि शुगर में कौन कौन सी सब्जी खानी चाहिए? जरूरी नहीं कि सभी सब्जियां मधुमेह की स्थिति के लिए फायदेमंद और पौष्टिक ही हों। ऐसे में आइए डायबिटीज को मैनेज करने के लिए 15 सर्वश्रेष्ठ सब्जियों के बारे में जानें जो आपके ब्लड शुगर लेवल को कंट्रोल करने में मदद करेंगी।
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मधुमेह रोगियों के लिए सब्जियों में ब्रोकली सबसे अच्छी सब्जियों में से एक है। अतः शुगर में आप अपनी डाइट में ब्रोकली को शामिल कर सकते हैं। इसमें विटामिन-C के साथ फाइबर और आयरन के साथ सेलिनियम और मैग्नीशियम भी पाया जाता है, जो डायबिटीज की स्थिति में फायदेमंद हो सकता है।
इसमें 'सल्फोराफेन' (sulforaphane) नामक तत्व होता है। यह लिवर ग्लूकोज को कम करने में मदद करता है। इस प्रकार यह ब्लड शुगर लेवल को कम कर सकता है। बता दें ब्रोकोली एक लो कैलोरी, लो कार्ब सब्जी है, जो डायबिटीज को मैनेज करने के साथ-साथ पूरे स्वास्थ्य पर सकारत्मक प्रभाव डाल सकती है।
कुछ रिसर्चर बताते हैं कि पालक में विटामिन C होता है। ये एंटीऑक्सिडेंट के रूप में काम करता है और इसमें एंटी इंफ्लेमेटरी गुण होता है, जो डायबिटीज में सेल्स के डैमेज को कम कर सकता है। इसमें पोषक तत्व भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं और यह डायबिटीज रोगियों के लिए लाभदायक होती है।
टमाटर में विटामिन सी, विटामिन ए और पोटैशियम भरपूर मात्रा में पाया जाता है और इसमें कार्ब्स कम होता है। कैलोरीज़ भी कम होती है। इसका ग्लाइसेमिक इंडेस्क भी कम होता है। ये आपके ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है। ये डायबिटीज वाले लोगों के लिए अच्छा होता है ।
बता दें टमाटर में लायकोपीन, ल्यूटिन और बीटा कैरोटीन जैसे एंटीऑक्सीडेंट भी होते हैं, जो आंखों को स्वस्थ रखने में सहायक हो सकते हैं। वहीं, मधुमेह का असर आंखों पर भी पड़ सकता है। ऐसे में डायबिटीज में आंखों को स्वस्थ रखने के लिए टमाटर का सेवन लाभकारी हो सकता है।
बीन्स में प्रोटीन और घुलनशील फाइबर होता है, जो आपके पेट को काफी देर भरा रखते हैं। इसके साथ इसमें एंटीऑक्सिडेंट, पोटेशियम, मैग्नीशियम आदि, पोषक तत्व भरपूर मात्रा में पाए जाते हैं, जो डायबिटीज को मैनेज करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
हरे बीन्स का ग्लिसेमिक इंडेक्स भी कम होता है। साथ ही ये आपके वजन को संतुलित रख सकते हैं। बता दें, मधुमेह में वजन बढ़ने का जोखिम अधिक होता है, जिससे डायबिटीज में होने वाली जटिलताओं का जोखिम बढ़ जाता है।
यदि आप अपने ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित रखना चाहते हैं तो पत्तागोभी अच्छा विकल्प हो सकता है। इसमें कम कैलोरी होती है और यह फाइबर का अच्छा स्रोत है। इसमें एंटीऑक्सिडेंट और एंटीहाइपरग्लाइसेमिक गुण भी होता है। इसलिए ये मधुमेह रोगियों के लिए बहुत अच्छा होता है। साथ ही इसका ग्लिसेमिक इंडेक्स भी कम होता है, जिस कारण यह डायबिटीज के लिए एक परफेक्ट खाद्य पदार्थ हो सकता है।
खीरे में पानी की मात्रा अधिक होती है जो हमें हाइड्रेटेड रखता है। यह पैंक्रियाज में इन्सुलिन को बनाने में मदद करता है। दरअसल, यह अग्न्याशय (pancreas) में बीटा सेल्स को इंसुलिन का उत्पादन करने में मदद कर सकता हैं। जिससे ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद मिल सकती है।
साथ ही इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है जिससे ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद मिलती है। इतना ही नहीं, इसमें फाइबर अधिक होता है जिससे यह पाचन को बेहतर कर सकता है।
डायबिटीज के पेशेंट को गाजर खाने की सलाह दी जाती है। इसमें विटामिन A, विटामिन B12, डाइट्री फाइबर होता है। साथ ही इसका जीआई भी कम होता है जो, ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद कर सकता है।
इसके अलावा, यह डायबिटिक न्यूरोपैथी के जोखिम को भी कम कर सकता है, क्योंकि इसमें विटामिन बी -6 मौजूद होता है। दरअसल, एक अध्ययन में पाया गया कि टाइप 2 मधुमेह वाले लोगों में विटामिन बी-1 और बी-6 की कमी आम है।
इसके अलावा, विटामिन बी -6 की कमी के कारण डायबिटिक न्यूरोपैथी का जोखिम अधिक हो सकता है। शोध के अनुसार कम विटामिन बी-6 का स्तर मधुमेह के परिणामों को नकारात्मक रूप से प्रभावित कर सकता है।
बता दें डायबिटिक न्यूरोपैथी उस स्थिति को कहते हैं, जब मधुमेह के कारण तंत्रिकाओं को क्षति पहुंचती है। इससे अंगों में झुनझुनी, सुन्नपन का एहसास हो सकता है। ऐसे में इस समस्या के जोखिम को कम करने के लिए गाजर का सेवन लाभकारी हो सकता है।
प्याज एंटी-ऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर होता है। इसमें एंटी-डायबिटिक और एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण होते हैं, जो डायबिटीज को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं। इसमें कार्ब्स कम होते है और इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स भी कम होता है, जिस कारण यह डायबिटीज के लिए एक बेहतर खाद्य पदार्थ की श्रेणी में आता है।
भिंडी का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है। इसमें पोटेशियम, विटामिन बी और सी, फोलिक एसिड, फाइबर और कैल्शियम जैसे पोषक तत्व पाए जाते हैं। भिंडी में हाई डायटरी फाइबर खाने को धीरे-धीरे पचाता है। फिर ये ब्लड स्ट्रीम में ग्लूकोज को धीरे-धीरे छोड़ता है जिससे, डायबिटीज को मैनेज करने में मदद मिल सकती है।
इसके अलावा, मधुमेह रोगियों में तनाव व थकान की समस्या भी हो सकती है। ऐसे में भिंडी में मौजूद एंटी स्ट्रेस और एंटी फेटिग गुण डायबिटीज में तनाव व थकान के जोखिम को भी कम कर सकता है।
क्या आप जानते हैं? करेला खाने के बाद भिंडी का सेवन नहीं करना चाहिए। इससे आपकी हेल्थ ख़राब हो सकती है। आपके शरीर को करेले के साथ भिंडी को पचाने में परेशानी हो सकती है और आपका डाइजेशन ख़राब हो सकता है। |
मूली में फाइबर अधिक होता है जिसकी वजह से यह डायबिटीज रोगियों के लिए बहुत अच्छी सब्जियों में से एक है। यह ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद करती है। दरअसल, मूली में ग्लूकोसाइनोलेट और आइसोथियोसाइनेट (glucosinolate and isothiocyanate) जैसे रासायनिक यौगिक होते हैं, जो ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं।
मूली खाने से आपके शरीर का प्राकृतिक एडिपोनेक्टिन (adiponectin) उत्पादन भी बढ़ता है। शरीर में इस हार्मोन का उच्च स्तर इंसुलिन प्रतिरोध से बचाव करने में मदद कर सकता है। मूली में कोएंजाइम Q10 (coenzyme Q10) नामक एंटीऑक्सिडेंट है जो मधुमेह के जोखिम को कम कर सकता है।
डायबिटीज को मैनेज करने के लिए फूलगोभी अच्छा विकल्प हो सकता है। इसमें कैलोरीज कम होती हैं। साथ ही इसमें फाइबर, विटामिन सी और फोलेट भरपूर मात्रा में पाया जाता है। फूलगोभी में मौजूद हाई फाइबर, डाइजेस्टिव सिस्टम पर पड़ने वाले नकारात्मक प्रभाव को कम कर सकता है। साथ ही अचानक ब्लड शुगर को बढ़ने से रोकने में मदद करता है।
इसमें सल्फोराफेन (sulforaphane) नाम का यौगिक मौजूद होता है, जो मधुमेह में होने वाली जटिलताओं के जोखिम जैसे - किडनी की समस्या से बचाव कर सकता है।
आप केल को अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं। यह एक गुणकारी खाद्य पदार्थ है, जो एंटी-डायबिटिक गुणों से भरपूर होता है। यह डायबिटीज को मैनेज करने में मदद कर सकता है। इसके साथ ही इसमें मौजूद विटामिन सी और अल्फा लिनोलेनिक एसिड डायबिटीज की जटिलताओं के जोखिम को कम कर सकता है।
मशरूम में विटामिन डी, सेलेनियम, जिंक, प्रोटीन, एंटीऑक्सीडेंट्स, एंटी-डायबिटिक, एंटी वायरल, एंटी कैंसर और एंटी माइक्रोबियल गुण पाए जाते हैं। डायबिटीज के लिए मशरूम बहुत अच्छा होता है। इसके सेवन से शरीर में ब्लड शुगर लेवल को नियंत्रित किया जा सकता है। दरअसल, मशरूम का ग्लिसेमिक इंडेक्स कम होता है, जिस कारण यह ब्लड शुगर लेवल को अचानक बढ़ने नहीं देता है।
मधुमेह के लिए करेला किसी रामबाण इलाज से कम नहीं है। दरअसल, करेले में पॉलीपेप्टाइड-पी नामक यौगिक होते हैं, जो इंसुलिन के स्तर को नियंत्रित करने में मदद कर सकते हैं। पॉलीपेप्टाइड-पी या पी-इंसुलिन एक इंसुलिन जैसा हाइपोग्लाइसेमिक प्रोटीन है, जिसका डायबिटीज की समस्या में सकारात्मक असर देखा जा सकता है। अतः करेला डायबिटीज के मरीज के लिए बहुत लाभदायक सब्जी है।
डायबिटीज की समस्या में होने वाली जटिलताओं जैसे - तंत्रिका क्षति, ह्रदय रोग, किडनी की समस्या और आँखों से जुड़ी परेशानियों से बचाव के लिए बीटरूट या चुकंदर काफी लाभकारी हो सकता है।
अध्ययन से पता चलता है कि चुकंदर में पाए जाने वाले एंटीऑक्सिडेंट शरीर में ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस और मुक्त कणों को कम कर सकते हैं। वहीं जब शरीर में मुक्त कण कम होते हैं तो मधुमेह की जटिलताएं भी कम हो सकती है।
यह विटामिन, मिनरल्स, फाइबर और फाइटोन्यूट्रिएंट्स से भरपूर होता है। इसमें कार्बोहाइड्रेट की मात्रा कम होती है। ये डायबिटीज को नियंत्रित करने में मदद कर सकती है, अगर इसका सेवन संतुलित रूप से किया जाये।
यहां हम सब्जियों में मौजूद जीआई वैल्यू के बारे में जानकारी दे रहे हैं, ये कुछ इस प्रकार हैं:
सब्जी के प्रकार | जीआई स्कोर |
पालक | लगभग 15 |
ब्रोकोली | लगभग 15 |
पत्तागोभी | 10 |
प्याज | 10 |
टमाटर | लगभग 10 से 15 |
हरी बीन्स | लगभग 32 |
खीरा | 15 |
लाल मूली | 15 |
भिंडी | 20 |
गाजर | 47 |
फूलगोभी | 5 से 15 |
केल | 2 और 4 |
मशरूम | 10 |
करेला | 18 |
चुकंदर | 61 |
नोट : आप सब्जियों को डाइट में शमिल जरूर करें, लेकिन ध्यान रहे आप अपने डॉक्टर द्वारा दिए गए डायबिटीज की दवा का भी नियमित रूप से सेवन करते रहें। डाइट के चक्कर में अपने मधुमेह की दवा को बंद न करें।
ऊपर हमने जाना शुगर में कौन कौन सी सब्जी खानी चाहिए। आइये अब जानते हैं डायबिटीज को मैनेज करने के लिए किन सब्जियों से परहेज करना चाहिए। आइये जानते हैं वो सब्जियां कौन सी हैं:
आलू स्टार्च से भरपूर होता है, इसमें हरी सब्जियों की तुलना में अधिक कार्बोहाइड्रेट होता है । सामान्य आलू का जीआई 111 होता है। यह आपके ब्लड शुगर लेवल को बढ़ा सकता है।
आलू करी, फ्रेंच फ्राइज़, और आलू चिप्स जैसे आलू से तैयार प्रसंस्कृत खाद्य पदार्थों से बचें। अगर आपको आलू खाने का मन हो तो बेहतर है इसे सीमित मात्रा में लें और इसके साथ कुछ फाइबर युक्त सब्जियां को अपनी डाइट में शामिल करें।
जैसा कि कॉर्न फाइबर, प्रोटीन और मिनरल्स से भरपूर होता है, लेकिन इसका अधिक सेवन नहीं करना चाहिए। यह हाई कैलोरी वाली सब्जी है। इसका ग्लाइसेमिक इंडेक्स 46 होता है, जो कम जीआई खाद्य पदार्थों के अंतर्गत आता है।
दूसरी ओर, पॉपकॉर्न और कॉर्न फ्लेक्स जैसे स्नैक्स में 65 और 81 जीआई होता है, अपनी रेगुलर डाइट में इसको लेने से बचना चाहिए। बेहतर है कॉर्न का सब्जी के रूप में सेवन करें, ना कि बाजार में मिलने वाले स्नैक्स के रूप में।
हमारा विश्वाश है, अब तक आप जान चुके होंगे कि शुगर में खाने वाली सब्जियां कौन-कौन सी हैं। ध्यान रहे जिन सब्जियों का ग्लाइसेमिक इंडेक्स कम होता है वो मधुमेह रोगियों के लिए लो शुगर वाली सब्जियां कहलाती हैं। उनका सेवन आप कर सकते हैं। ऐसे में ऊपर बताई गई लो ग्लिसेमिक इंडेक्स वाली सब्जियां शुगर लेवल को कंट्रोल करने में मदद कर सकती हैं।
ध्यान रहें अपनी डाइट में कोई भी परिवर्तन करने से पहले अपने डॉक्टर से एक बार सलाह अवश्य ले लें। याद रखें मधुमेह रोगियों के लिए सब्जियों का सेवन काफी लाभकारी हो सकता है। बशर्ते, किसी भी सब्जी का सीमित मात्रा में सेवन किया जाए।
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